उच्च शिक्षित युवाओं के लिए ऐतिहासिक परिचय सम्मेलन, भारतीय जैन संघटना का नया आयाम
और होने चाहिए ऐसे सम्मेलन, कहा प्रतिभागियों ने
उदयपुर। भारतीय जैन संघटना के तत्वावधान में उदयपुर के इतिहास में पहली बार सकल जैन समाज के उच्च शिक्षित युवक-युवतियों के लिए रविवार को 100 फीट रोड स्थित ओपेरा गार्डन में परिचय सम्मेलन का आयोजन किया गया। सम्मेलन की सफलता का आलम यह कि दिन भर चले सम्मेलन के बाद पन्द्रह युगल के परिवारों ने आपस में बातचीत कर विवाह सम्बन्ध करना तय किया।
अपनी तरह के इस पहले सम्मेलन की प्रतिभागियों सहित अभिभावकों ने काफी सराहना की। सम्मेलन में करीब 145 से अधिक युवक-युवतियों ने शिरकत की। इनमें सीए, डॉक्टर्स, एमबीए, शामिल थे। कार्यक्रम का सफल संचालन बीजेएस के राष्ट्रीय अध्यक्ष प्रफुल्ल पारेख ने किया।
संघटना के उदयपुर चैप्टर के चेयरमैन राजकुमार फत्तावत ने बताया कि युवाओं को 5-5 के बैच में मंच पर बिठाया गया जिनसे संघटना के राष्ट्रीय अध्यक्ष प्रफुल्ल पारेख ने सवाल जवाब किये जिनमें जन्मपत्री के बारे में क्या खयाल है, फैमिली को क्या पसंद है, कैसी लड़की चाहिए, फैमिली में कौन-कौन हैं, क्या पसंद है आदि शामिल थे। उच्च शिक्षित युवाओं ने खुलकर अपने मन की बात रखी और अपनी तथा अपने परिवार की पसंद के बारे में बताया। संचालन कर रहे पारेख ने कई बार अपने प्रश्नों के माध्यम से युवाओं को हंसाया भी और उनसे उनके जवाबों के बारे में खुलकर पूछा। मंच से प्रतिभागियों ने इस बात को दोहराया कि ऐसे सम्मेलन और भी होते रहने चाहिए। पहली बार ऐसा परिचय सम्मेलन देखा जिसमें किसी को अपनी बात कहने में किसी तरह की कोई हिचक महसूस नहीं हुई।
फत्तावत ने बताया कि इस तरह के आयोजन का उद्देश्य यही था कि युवक-युवतियां अपने आप के बारे में मंच से अपना परिचय देने में काफी हिचक महसूस करते हैं। ऐसे में व्यक्तिगत अलग अलग किसी को अपना परिचय देना नही पड़ा और बैच के रूप में बैठकर सवालों के जवाब दिए जिससे इच्छुक अभिभावकों ने तात्कालिक रूप से उनके नाम नोट कर लिए। शाम होते होते 145 में से 30 युवक-युवतियों के आपस में विवाह सम्बन्ध तय हो गए।
सम्मेलन में आये प्रतिभागियों के कहना था कि पहली बार ऐसे आयोजन का हिस्सा बनना अच्छा लगा। इंटरव्यू होते हुए भी इंटरव्यू नही हुआ और अपने मन की बात सभी तक पहुंच गई वहीं सामने वाले की इच्छा भी पता चल गई।
सम्मेलन में गुजरात, महाराष्ट्र, मध्यप्रदेश, जयपुर, बांसवाड़ा, डूंगरपुर, चित्तौड़, राजसमन्द आदि स्थानों से सकल जैन समाज के युवाओं ने अभिभावकों सहित हिस्सा लिया।
सम्मेलन की सफलता के लिए कमेटियों का गठन किया गया था जिनमें चेतन जैन, सुधीर चित्तौड़ा, यशवंत कोठारी, दीपक सिंघवी, अविनाश चावत, रैनप्रकाश जैन, श्याम नागोरी, सोनल सिंघवी, आशा मेहता ने सहयोग कर इसे सफलता प्रदान की।