अभिभावकों का दायित्व एक भी बच्चा शिक्षा से वंचित नहीं रहे : गहलोत
udaipur. मुख्यमंत्री अशोक गहलोत ने बसंत पंचमी पर बालिका शिक्षा को प्रोत्साहन देने के लिए कई महत्वपूर्ण घोषणाएं कर उन्हें तोहफा दिया। वे उदयपुर में पूर्व निर्धारित कार्यक्रम के बिना अचानक राजकीय फतह उच्च माध्यमिक विद्यालय में आयोजित जिलास्तरीय गार्गी पुरस्कार समारोह में पहुंचे और उन्होंने जिले की 650 बालिकाओं को गार्गी पुरस्कार प्रदान किया।
मुख्यमंत्री ने बालिका शिक्षा को बढ़ावा देने के लिए बालिकाओं को विभिन्न योजनाओं में दी जाने वाली राशि बढाने की घोषणाओं के साथ सामान्य वर्ग की छात्राओं को भी इंदिरा गांधी प्रियदर्शिनी अवार्ड में शामिल करने की घोषणा की। मुख्यमंत्री ने गार्गी पुरस्कार की राशि को 1500 रुपये से बढाकर 2000 रुपये करने की घोषणा की।
मुख्यमंत्री ने बालिका शिक्षा प्रोत्साहन में दी जाने वाली तीन हजार रुपये की राशि को बढाकर पांच हजार रुपये करने की घोषणा की। इस योजना के तहत पहले सरकारी स्कूल की छात्राएं लाभान्वित होती थी। अब इसमें निजी स्कूल की छात्राओं को भी शामिल कर लिया गया हैं। इस कारण अब लाभान्वित होने वाली छात्राओं की संख्या दुगुनी हो जायेगी। यह व्यवस्था इस साल से लागू होगी।
क्याग है गार्गी पुरस्कागर
यह पुरस्कार सभी वर्ग की छात्राओं को मिलता है जो सरकारी व निजी स्कूलों में पढ़ती है। अब इस पुरस्कार के तहत छात्राओं को दो किश्तों में चार हजार रुपये की राशि पुरस्कार स्वरुप प्राप्त होगी। गार्गी पुरस्कार उन बालिकाओं को मिलता है जो 75 प्रतिशत या इससे अधिक अंकों से 10 वीं कक्षा पास करने के पश्चात 11 वीं कक्षा में प्रवेश लेती हैं।
मुख्यमंत्री ने इंदिरा गांधी प्रियदर्शिनी अवार्ड जो अब तक 10 वीं व 12 वीं में जिला स्तर पर सर्वोच्च स्थान प्राप्त करने वाली अनुसूचित जाति, जनजाति, ओबीसी, अल्पसंख्यक एवं विकलांग बालिका को दिया जाता था और इसमें सामान्य श्रेणी शामिल नही थी। गहलोत ने इस पुरस्कार में अब सामान्य वर्ग की बालिका को भी शामिल करने की घोषणा की है। इस योजना में जिले में प्रथम स्थान प्राप्त करने वाली प्रत्येक श्रेणी की कक्षा 10 की बालिका को 40 हजार तथा कक्षा 12 वीं की बालिका को 50 हजार रुपये का पुरस्कार प्रदान किया जाता हैं।
मुख्यमंत्री ने कहा कि हमें पूर्व प्रधानमंत्री स्व. राजीव गांधी के भारत को 21 वीं सदी में ले जाने का सपना पूरा करना होगा। यह सपना तभी पूरा होगा जबकि प्रत्येक बच्चा शिक्षित हो और तकनिक से जुडे। उन्होंने कहा कि आज कम्प्यूटर, ई—मेल, मोबाईल, ट्यूटर, ब्लॉग आदि से सूचना क्रांति में व्यापक परिवर्तन आया है।
सांसद रघुवीर मीणा ने स्वागत उद्बोधन दिया। इस अवसर पर जनजाति क्षेत्राीय विकास तथा ग्रामीण विकास एवं पंचायतीराज मंत्री महेन्द्रजीत सिंह मालविया, खेल राज्यमंत्राी मांगीलाल गरासिया, जिला कलक्टर हेमन्त गेरा तथा पुलिस अधीक्षक आलोक वशिष्ठ मंचासीन थे। विद्यालय संचालन समिति के अध्यक्ष लक्ष्मीनारायण पण्ड्या ने सभी का स्वागत किया। समारोह में गार्गी पुरस्कार प्राप्त करने वाली बालिकाएं, शिक्षा विभाग के अधिकारी व गणमान्य नागरिक मौजूद थे।