udaipur. प्रसार शिक्षा निदेशालय, महाराणा प्रताप कृषि एवं प्रौद्योगिकी विश्व विद्यालय व कृषि एवं सहकारिता विभाग, कृषि मंत्रालय, भारत सरकार, नई दिल्ली के तत्वावधान में ’कृषकों को कृषि व्यवसाय समूह में संगठित कर प्रबन्धन तकनीक‘ विषयक एक मॉडल ट्रेनिंग कोर्स का समापन मंगलवार को हुआ।
इसमें नागालैण्ड, मिजोरम, बिहार, पंजाब, हरियाणा, मध्य प्रदेश, राजथान, गुजरात के सरकारी विभागों के कृषि अधिकारी, विश्व विद्यालयों के सहायक प्राध्यापक एवं गैर सरकारी संस्थाओं से 23 अधिकारियों ने भाग लिया। प्रशिक्षण के दौरान कृषकों को संगठित कर व्यावसायिक रूप से कृषि व्यवसाय के लिये प्रेरित करना, भारतीय परिपेक्ष में कृषि व्यवसाय की समझ, कृषकों द्वारा उनके उत्पाद को उपभोक्ता तक कृषक संगठन द्वारा प्रसंस्कृत कर मूल्य अभिवर्धन करना आदि विषयों पर व्यावहारिक, तकनीकी एवं प्रबंधन सम्बन्धित जानकारी उपलब्ध कराई गई। कार्यक्रम के समापन पर डॉ. इन्द्रजीत माथुर, निदेशक प्रसार शिक्षा ने प्रशिक्षणार्थियों से अपील करते हुए कहा कि आप अपने प्रदेश के क्षेत्र में जाकर लघु एवं सीमान्त कृषकों को संगठित कर उत्पादक कम्पनी बनाये जिससे कृषकों को अपने उत्पादों का समुचित मूल्य प्राप्त हो सके। उन्होंने बताया कि एक्सेस के सहयोग से ऐसी उत्पादक कम्पनी बांसवाड़ा व डूंगरपुर जिले में सफलतापूर्वक कार्य कर रही है। इस अवसर पंजाब के कृषि अधिकारी तजिन्दर सिंह, राजस्थाकन के सहायक कृषि अधिकारी सुधीर वर्मा एवं पाली के प्रवीण घोटकर ने प्रशिक्षण से संबंधित अपने अनुभव सदन को बतलाए। प्रशिक्षणार्थियों को पाठ्य सामग्री भी उपलब्ध कराई गई।