उदयपुर में राज्य स्तरीय आरोग्य मेले का भव्य शुभारंभ
उदयपुर। राज्य के चिकित्सा स्वास्थ्य एवं आयुर्वेद मंत्री राजेन्द्र सिंह राठौड़ ने कहा कि राज्य सरकार विश्वभर में अपनी महत्ता उजागर कर चुकी प्राचीनतम भारतीय चिकित्सा पद्धतियों को अपनाने के लिए प्रेरित करते हुए स्वस्थ राजस्थान की संकल्पना को मूर्त रूप देने के लिए गंभीर है और इसी दृष्टि से प्रदेश में आयुष नीति का निर्माण किया जा रहा है।
राठौड़ शनिवार को यहां नगरनिगम टाउन हॉल परिसर में आयुर्वेद एवं भारतीय चिकित्सा विभाग, राजस्थान सरकार द्वारा उदयपुर संभाग मुख्यालय पर आयोजित हो रहे चार दिवसीय राज्य स्तरीय आरोग्य मेले में शुभारंभ समारोह में बतौर मुख्य अतिथि संबोधित कर रहे थे।
उन्होंने कहा कि पंचकर्म और क्षारसूत्र का अन्तर्राष्ट्रीयकरण हो चुका है। डब्ल्यूएचओ की रिपोर्ट के अनुसार 80 प्रतिशत तक स्थानीय चिकित्सा पद्धतियों का उपयोग किया जा रहा है ऐसी स्थितियों में आवश्यकता है कि वर्तमान में प्रदूषित वातावरण और बदलते परिवेश के कारण बीमारियों से ग्रसित हो रहे आमजन को आयुष पद्धतियों से जोड़कर स्वस्थ जीवन की सौगात प्रदान की जाए।
मेडिकल कॉलेज में सुपर स्पेश्लिटी सेवाएं : अपने संबोधन में श्री राठौड़ ने कहा कि उदयपुर के मेडिकल कॉलेज में सुपर स्पेश्लिटी सेवाएं उपलब्ध कराने की दृष्टि से 150 करोड़ रुपए की योजना को तैयार किया गया है और इसे इसी वित्तीय वर्ष में मूर्त रूप प्रदान किया जाएगा।
अध्यक्षीय उद्बोधन जनस्वास्थ्य अभियांत्रिकी एवं भूजल विभाग मंत्री किरण माहेश्वरी ने दिया। सांसद अर्जुनलाल मीणा, महापौर चंद्रसिंह कोठारी, आयुर्वेद विश्वविद्यालय के कुलपति प्रो. राधेश्याम शर्मा, आयुर्वेद निदेशक मोहम्मद यासीन पठान, यूनानी निदेशक सैयद मोहम्मद नज़म, डॉ. बीआर चौधरी आदि बतौर अतिथि मंचासीन थे।
पुस्तक का विमोचन : अतिथियों ने डॉ. चंद्रभान द्वारा आयुर्वेद विषय पर लिखी पुस्तक का विमोचन करने के साथ ही आयुर्वेद महाविद्यालय को जनजाति क्षेत्र में आरोग्य शिविरों के संचालनार्थ प्राप्त नई वातानुकूलित एम्बुलेंस का लोकार्पण भी किया।