उदयपुर। झील मित्र संस्थान, झील संरक्षण समिति व डॉ मोहनसिंह मेहता मेमोरियल ट्रस्ट के सानिध्य में रविवार को पिछोला अमरकुंड व बारीघाट पर आयोजित श्रमदान में झील क्षेत्र से भारी मात्रा में पूजन सामग्री, फर्रियां, पॉलिथीन, थर्मोकोल, छोटे ताजिये एवं जलीय घास निकाली।
श्रमदान में मोहन सिंह चौहान, रामलाल, ललित पुरोहित, पप्पी कुमावत, दीपेश स्वर्णकार, इंग्लैंड के युवा सामाजिक कार्यकर्ता इयन, मानव सिंह, तेज शंकर पालीवाल, डॉ. अनिल मेहता, नंदकिशोर शर्मा ने भाग लिया।
श्रमदान पश्चात संवाद में हिन्दू एवं मुस्लिम धर्मावलंबियों द्वारा झील में न्यूनतम विसर्जन की सराहना की गई। कतिपय नागरिकों जिनके द्वारा छोटी मूर्तियां, छोटे ताजिया विसर्जित किये गए, उन्हें भी निरंतर समझाया जाएगा।
संवाद में प्रशासन से मांग की गई कि सीवर लाइन में व्यर्थ बह कर बरबाद हो रहे झील के पानी को रोकने के लिए सार्थक प्रयास किया जाय। रोज कई लाख लिटर झील का साफ पानी सिवर लाईन में व्यर्थ बरबाद हो रहा है। विगत 18 सितम्बर को रात्रि में नगर निगम के अधिकारियों व सभी झील मित्रों ने झील का साफ पानी सीवर में बहता देखा तथा तुरंत उपाय करने का निर्णय किया लेकिन लगभग एक माह पूरा होने के बावजूद इस पर कोई प्रगति नहीं हुई है।