पेसिफिक एमबीए बैच शुरू करने वाला राज्य का पहला कॉलेज
उदयपुर। भारत की अर्थव्यवस्था जिस प्रकार तेजी से उभर रही है और व्यापार वृद्धि के नए आयाम जिस प्रकार निरन्तर बढ़ रहे हैं, ऐसे आर्थिक परिदृष्य में एमबीए ग्रेजुएट्स के लिए आगामी समय में सर्वाधिक संभावनाएं उत्पन्न होंगी।
अब यह एमबीए छात्र-छात्राओं पर निर्भर है कि वे पेसिफिक विश्वविद्यालय में दो वर्ष के अध्ययन के दौरान दिए जाने वाले सर्वश्रेष्ठ पाठ्यक्रम, व्यावहारिक जानकारियों व कार्यशालाओं व इण्डस्ट्रियल विजिट आदि का भरपूर लाभ उठाकर स्वयं का कौशल-विकास करें व स्वयं को विश्वस्तरीय रोजगार योग्य बनाएं। पेसिफिक विश्वविद्यालय के फैकल्टी ऑफ मैनेजमेंट की डीन प्रो. महिमा बिड़ला ने यह बात पेसिफिक विश्वविद्यालय एमबीए कोर्स में नव-प्रवेशित छात्र-छात्राओं के लिए आयोजित दस-दिवसीय इन्डक्शन कार्यक्रम के समापन सत्र में उद्बोधन में कही।
पेसिफिक विश्वविद्यालय के फैकल्टी ऑफ मैनेजमेन्ट ने सम्पूर्ण प्रदेश के सभी महाविद्यालयों को पीछे छोड़ते हुए मैनेजमेन्ट कोर्स के नव-प्रवेशित विद्यार्थियों के प्रथम बैच का शुभारंभ 6 दिवसीय बिजनेस प्रिपेरेटरी प्रोग्राम के साथ 4 जुलाई को किया। इस प्रिपरेटरी प्रोग्राम को आगे बढ़ाते हुए 10 दिवसीय इंडक्शन कार्यक्रम 11 से 20 जुलाई तक आयोजित किया गया। इस इन्डक्शन कार्यक्रम का उद्देश्य नव-प्रवेशित विद्यार्थियों को पेसिफिक के विशिष्ट दो वर्षीय एमबीए प्रोग्राम के दौरान अपनाई जाने वाली आधुनिक पेडागॉजी, व्यावहारिक तौर-तरीके, प्लेसमेन्ट सेल की गतिविधियों आदि के बारे में जानकारी देना व उनमें पठन-पाठन के प्रति रूचि जागृत करना था।
कार्यक्रम संयोजिकाओं डॉ. पल्लवी मेहता व डॉ. कादम्बरी जैन ने बताया कि आधुनिक चुनौतियों और प्रबंध अध्ययन के दौरान इन विविध चुनौतियों के समाधान की योग्यता विकसित करने के लिए अप्रत्याशित संक्रमणों के प्रबंध अर्थात क्राइसिस मैनेजमेण्ट, मैनेजमेण्ट बाई कॉनफ्लिक्ट से लेकर साइमुलेशन अनुभवजनित संज्ञान, फिश बाउल पेडागोजी, प्रबंध क्रिडागण अर्थात मैनेजमेंट गेम्स जैसी अनेक प्रकार की प्रबंध अध्यापन की शास्त्री व आधुनिक विधियों के समावेश से युक्त यह इंडक्शन कार्यक्रम एमबीए में नवप्रवेशित छात्रों के अदम्य उत्साह और प्रबंधन में समस्या निवारण की विशिष्ट योग्यताएं विकसित करने में अत्यंत प्रभावी सिद्ध होंगी। इस कार्यक्रम में विभिन्न विषयों पर 29 सत्रों का आयोजन किया गया। आइस ब्रेकिंग सत्र का संचालन करते हुए गरिमा बक्षी ने नए छात्र-छात्राओं के मन में व्याप्त आशंकाओं को दूर करते हुए उन्हें नए कोर्स की बारीकिओं से जोड़ने का प्रयास किया। उन्होंने विद्यार्थियों को समझाया कि किस प्रकार वे अपनी सक्रिय भागीदारी से एम.बी.ए. प्रोग्राम का अधिकतम लाभ उठा सकते हैं। आमंत्रित विशेषज्ञ सोनिया केसवानी ने तृतीय सत्र में बिजनेस स्कूल में पढ़ाए जाने वाले एमबीए पाठ्यक्रम के पीछे के विजन एवं स्कोप के बारे में विस्तार से बताया।
कार्यक्रम के दौरान डॉ. अनुपम भार्गव, अर्चना सिंह, रविन्द्र बांगड़, डॉ. निधि नलवाया, वरिष्ठ फैकल्टी सदस्य डॉ. शिवोहम सिंह ने सत्र लिए। कार्यक्रम संयोजिका डॉ. कादम्बरी जैन व डॉ पल्लवी मेहता ने बताया कि इन्डक्शन कार्यक्रम में एमबीए प्रथम वर्ष में नव प्रवेशित छात्र-छात्राओं में से 120 छात्र-छात्राओं ने भाग लिया। समापन समारोह में इन्डक्शन प्रोग्राम के दौरान विभिन्न गतिविधियों में उल्लेखनीय प्रदर्शन करने वाले विद्यार्थियों को पुरस्कृत किया गया। प्रतिभागी विद्यार्थियों ने भी अपने अनुभव साझा किए।