पहले चरण में 5.68 करोड़ रूपयों की लागत से दरगाह के संरक्षण, स्वच्छता और ठोस अपशिष्ट प्रबंधन के लिए होगें कार्य
केंद्रीय अल्पसंख्यक मामलात मंत्री मुख्तार अब्बास नकवी ने कहा कि हिन्दुस्तान जिं़क द्वारा प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी के स्वच्छ भारत मिशन के तहत् ख्वाजा गरीब नवाज़ की दरगाह के सरंक्षण और स्वच्छता की पहल प्रशंसनीय और अनुकरणीय है। हिन्दुस्तान जिं़क देश की पहली निजी कंपनी है जो कि स्वच्छ भारत आइकाॅनिक प्लेस के मिशन में अपना सहयोग दे रही है।
वे शनिवार को कायड़ विश्राम स्थली पर आयोजित एमओयू हस्ताक्षर कार्यक्रम को संबोधित कर रहे थे। उन्होंने कहा कि विजन डाॅक्यूमेन्ट में जो कार्य किये जाने है, उनकी सहमती के लिए एक अनुमोदन कमेटी का गठन किया जाना है। जिसमें जिला कलेक्टर, नगर निगम, दरगाह कमेटी, दोनो अन्जुमन कमेटी के सदस्य रहेगें। हजरत शेख ख्वाज़ा सैयद मोईनुद्दीन हसन चिश्ती अजमेर ख्वाजा साहब की दरगाह में हर माह लाखों लोग अकीदत के लिए आते है इस पवित्र धार्मिक स्थल को 2016 में स्वच्छ आइकाॅनिक प्लेस में चयनित किया है जिसके जिम्मा विश्व की अग्रणी और देश की एकमात्र एकीकृत सीसा, जस्ता और चांदी उत्पादक कंपनी हिन्दुस्तान जिं़क ने उठाया है। स्वच्छ भारत मिशन के तहत् दरगाह के संरक्षण, स्वच्छता और ठोस अपशिष्ट प्रबंधन के लिए हिन्दुस्तान जिं़क द्वारा प्रथम चरण में 5.68 करोड़ रूपयों की लागत होगी जिसके लिए केंद्रीय अल्पसंख्यक मामलात मंत्री मुख्तार अब्बास नकवी, हिन्दुस्तान जिं़क से मुख्य वित्तीय अधिकारी अमिताभ गुप्ता, दरगाह कमेटी से मुख्यकार्यकारी अधिकारी एवं नाजीम आईबी पीरज़ादा, नगर परिषद अजमेर के कमिशनर हिमांशु गुप्ता ने समझौते के ज्ञापन पर हस्ताक्षर किये। प्रधानमंत्री मोदी द्वारा शुरू किये गये स्वच्छ भारत मिशन के तहत् 2016 में भारत के विरासत, आध्यात्मिक और सांस्कृतिक स्थानों को स्वच्छ रखने के अभियान में अपना सहयोग करते हुए हिन्दुस्तान जिं़क ने देश के 100 चयनित स्थानों में राजस्थान के अजमेर दरगाह शरीफ को पीपीपी माॅडल पर पहल की है। इस पहल को शहरी एवं विकास मंत्रालय, संस्कृति मंत्रालय, पर्यटन मंत्रालय और संबंधित राज्य सरकार के सहयोग से पेयजल एवं स्वच्छता मंत्रालय द्वारा समन्वित किया जा रहा है।
दरगाह केमेटी अध्यक्ष अमिन पठान नें कहा कि अजमेर में इस प्रोजेक्ट के तहत ऐसे सकारात्मक बदलाव आयेगें और यहां देश विदेश से आने वाले जायरिन अपने दिलों में एक अच्छी यादगार लेकर जाऐंगें। शिक्षा राज्य मंत्री वासुदेवनानी ने कहा की हिनदुस्तान ज़िंक ने दरगाह के सरंक्षण के लिए सकारात्मक कदम प्रशंसनीय है जिसके अच्छे परिणाम आयेंगे। हिन्दुस्तान ज़िंक द्वारा इस हेतु तीन चरणों में दरगाह में प्रतिदिन चढ़ाए जाने वाले फूलों से खाद बनाने की मशीन, सफाई एवं सरंक्षण हेतु मरम्मत, जोखिम प्रबंधंन, चुनिंदा क्षेत्रों मंे फर्श की मरम्मत, बिजली और पानी के लिए भूमिगत पाइप, सफाई हेतु मशीन, निजाम गेट और शाहंजहानी गेट के सरंक्षण का कार्य किया जाएगा। इस कार्य के लिए नोडल एजेंसी जिला कलक्टर अजमेंर होगी।
हिन्दुस्तान ज़िंक के मुख्य वित्तीय अधिकारी अमिताभ गुप्ता ने कहा कि हिन्दुस्तान जिं़क को इस विशेष पहल से जुडने पर गर्व है, हम एक सामाजिक जिम्मेदारी और समाजोत्थान के कार्याे के लिए हमेशा से अग्रणी रहे हंै। उन्होने कहा कि इस प्रोजेक्ट की सफलता के लिए बड़ी सोच के साथ साथ सभी के सहयोग की आवश्यकता है जिसके लिए सभी सहभगियों का साथ मिलकर चलना जरूरी है। हिन्दुस्तान जिं़क के हेड-कार्पोरेट कम्यूनिकेशन पवन कौशिक ने बताया कि कंपनी द्वारा हाल ही में 27 लाख रूपयों की लागत से फूलों से खाद बनाने वाली दो मशीनों को स्थापित किया गया है जहां जायरिनों द्वारा चढ़ाए जा रहे फूलों को खाद में परिवर्तित किया जा रहा है। हिन्दुस्तान जिं़क द्वारा दरगाह शरीफ के विकास के लिए मास्टर प्लान तैयार किया है जिसके अनुरूप इसे क्रियान्वित किया जाएगा।
हिंदुस्तान जिं़क द्वारा अभिमन्यू दलाल आर्किटेक्ट्स, रसिका रिसर्च एण्ड डिजाईन एवं एमकेजी कंसलटेट को इस परियोजना के आर्किटेक्चरल पार्ट के लिए नियुक्त किया है जो कि इसे क्रियान्वित करेंगें। दरगाह अजमेर शरीफ भारत और दुनिया में सबसे ज्यादा जियारत करने वाले धार्मिक स्थानों में से एक है जो कि 1192 और 1236 ईस्वीं के बीच सूफी संत ख्वाजा मोइनुद्दीन चिश्ती का निवास स्थान था। पूरे देश और दुनिया भर से पूरे वर्ष यहां जायरीन आ कर अकीदत के फूल और चादर पेश करते हैं। एमओयू हस्ताक्षर कार्यक्रम में हिन्दुस्तान जिं़क की सीएसआर हेड नीलिमा खेतान ने परियोजना की विस्तार से जानकारी दी। इस अवसर पर जिला कलक्टर आरती डोगरा, कायड माइंस के यूनिट हेड बलवंत राठौड़ सहित दरगाह कमेटी, हिन्दुस्तान जिं़क, जनप्रतिनिधी एवं गणमान्य उपस्थित थे।