विकास के अगले चरण में अपने सेक्टर की वर्ल्ड क्लास कम्पनियाँ बनेंगी
वेदांता लिमिटेड के शेयर होल्डर को हर शेयर पर मिलेंगे नई लिस्टेड पाँच कंपनियों के एक-एक शेयर
भारत में कमोडिटीज, एनर्जी और टेक्नोलॉजी की बढ़ती मांग का मिलेगा लाभ
नई दिल्ली/लंदन : उल्लेखनीय ग्लोबल फुटप्रिंट के साथ भारत की सबसे बड़ी डाइवर्सिफाइड नेचुरल रिसोर्स कंपनी वेदांता लिमिटेड ने वैल्यू अनलॉक करने और प्रत्येक व्यवसाय का विस्तार और विकास के लिए बड़े निवेश को आकर्षित करने के लिए अपनी बिजनेस यूनिट्स को स्वतंत्र “प्योर प्ले” कंपनियों में विभाजित करने की एक महत्वाकांक्षी योजना की घोषणा की है। वेदांता सर्वोत्तम श्रेणी की ईएसजी प्रैक्टिसेज के लिए प्रतिबद्ध है और ग्रीन इकॉनमी में परिवर्तन के लिए क्रिटिकल मेटल्स पर उसका विशेष फोकस है।
यह घोषणा ऐसे समय में की गई है जब भारत के अगले कई वर्षों तक सबसे तेजी से बढ़ती प्रमुख अर्थव्यवस्था बनने का अनुमान लगाया गया है। वेदांता लिमिटेड का नब्बे प्रतिशत से अधिक मुनाफा भारत में प्राप्त होता है। यहाँ कमोडिटीज की मांग तेजी से बढ़ने की उम्मीद है क्योंकि देश वर्ल्ड क्लास इंफ्रास्ट्रक्चर का निर्माण जारी रख रहा है और एनर्जी ट्रांजीशन के लिए महत्वकांक्षी टार्गेट्स को पाने का प्रयास कर रहा है जिनके लिए मिनरल्स की बहुत आवश्यकता रहेगी। भारत सरकार का आत्मनिर्भरता पर जोर कमोडिटी क्षेत्र में भारतीय कंपनियों के लिए तेजी से विकास के अवसर प्रदान करेगा।
वेदांता के पास जिंक, सिल्वर, लेड, एल्यूमीनियम, क्रोमियम, कॉपर, निकल मिनरल्स के साथ ऑयल और गैस; आयरन अयस्क और स्टील सहित एक पारंपरिक फेरस वर्टीकल; और पॉवर, जिसमें कोयला आधारित और नवीकरणीय ऊर्जा शामिल है, में भारत और वैश्विक कंपनियों के बीच फैली एसेट्स का एक अनूठा पोर्टफोलियो है। अब ये समूह सेमीकंडक्टर और डिस्प्ले ग्लास मैन्युफैक्चरिंग में प्रवेश कर रहा है। एक बार डीमर्जर के बाद, प्रत्येक स्वतंत्र यूनिट को स्वतंत्र मैनेजमेंट, कैपिटल एलोकेशन और ग्रोथ के लिए विशिष्ट स्ट्रेटेजी के माध्यम से अपनी क्षमता और वास्तविक मूल्य तक बढ़ने की अधिक स्वतंत्रता होगी। यह ग्लोबल और भारतीय इन्वेस्टर्स को अपने पसंदीदा वर्टिकल में इन्वेस्ट करने का अवसर भी देगा, जिससे वेदांता एसेट्स के लिए इन्वेस्टर बेस का विस्तार होगा।
इसी लक्ष्य की ओर बढ़ते हुए, वेदांता लिमिटेड बोर्ड ने एक प्योर-प्ले, एसेट-ओनर बिजनेस मॉडल को मंजूरी दी है, जिसके परिणामस्वरूप अंततः छह लिस्टेड कंपनियों का निर्माण होगा:
वेदांता एल्यूमिनियम, वेदांता ऑयल एंड गैस, वेदांता पॉवर, वेदांता स्टील और फेरस मैटेरियल्स, वेदांता बेस मेटल, वेदांता लिमिटेड
डी-मर्जर को एक साधारण वर्टिकल शिफ्ट के रूप में करने की योजना है, जिसमे वेदांता लिमिटेड के एक शेयर पर प्रत्येक शेयर होल्डर को नई लिस्टेड पाँच कंपनियों के एक एक शेयर मिलेंगे। इसके अलावा, हम हिंदुस्तान जिंक लिमिटेड (एचजेडएल, वेदांता लिमिटेड की सहायक कंपनी) की आज की घोषणा पर ध्यान देते हैं, जिसके तहत उनके बोर्ड ने अपनी कॉर्पोरेट संरचना की व्यापक समीक्षा की घोषणा की और जिंक-लेड, चांदी और रीसाइक्लिंग तीन लिस्टेड एंटिटी में डीमर्जर के माध्यम से अलग होने का इरादा किया है।
ये घोषणा एक्सचेंज वेबसाइट www.bseindia.com ; www.nseindia.com तथा HZL वेबसाइट www.hzlindia.com पर पर भी उपलब्ध है।
डिमर्जर का आधार: ये सेक्टर फोकस्ड इंडिपेंडेंट बिजनेस के साथ वेदांत के कॉर्पोरेट स्ट्रक्चर को सरल बनाता है। वेदांता की वर्ल्ड क्लास एसेट्स के माध्यम से भारत की उल्लेखनीय ग्रोथ स्टोरी से जुड़ी समर्पित प्योर-प्ले कंपनियों में डायरेक्ट इन्वेस्टमेंट के अवसरों के साथ, संप्रभु वेल्थ फंड और स्ट्रेटेजिक इन्वेस्टर्स सहित ग्लोबल इन्वेस्टर्स को अवसर प्रदान करता है। लिस्टेड इक्विटी और सेल्फ-ड्रिवन मैनेजमेंट टीमों के साथ, ये डिमर्जर इन यूनिट्स को स्ट्रेटेजिक एजेंडा को अधिक स्वतंत्र रूप से आगे बढ़ाने और कस्टमर्स, इन्वेस्ट साइकल्स और अंतिम बाजारों के साथ बेहतर ढंग से तालमेल करने के लिए एक प्लेटफॉर्म प्रदान करता है। वेदांता परिवार की कंपनियों के भीतर उल्लेखनीय तकनीकी प्रगति, पर्यावरणीय प्रबंधन और मजबूत विकास की विशेषताओं को बेहतर ढंग से उजागर करने और बाजार को अधिक आसानी से महत्व देने में सक्षम बनाता है।
वेदांता के अध्यक्ष अनिल अग्रवाल ने कहा : “यह वेदांता और भारत के लिए एक महत्वपूर्ण घोषणा है। हमारा देश अभूतपूर्व विकास पथ पर है जो हमें इस दशक के अंत से पहले दुनिया की तीसरी सबसे बड़ी अर्थव्यवस्था बना देगा। मिनरल्स, मैटल्स और ऑयल एंड गैस की मांग बहुत तेजी से बढ़ने वाली है और वेदांता इस बढ़ती मांग को पूरा करने और आयात पर निर्भरता कम करने के लिए यूनिक पोजीशन में है। वेदांता सेमीकंडक्टर और डिस्प्ले ग्लास सेक्टर में भी प्रवेश कर रहा है जिसकी भारत के लिए बहुत स्ट्रेटेजिक इम्पोर्टेंस है।
हमारा मानना है कि हमारी बिजनेस यूनिट्स के डीमर्जर से प्रत्येक में तेजी से विकास के लिए वैल्यू और पोटेंशियल अनलॉक होगा। जबकि वे सभी नेचुरल रिसोर्सेज की वृहद श्रेणी में आते हैं, प्रत्येक का अपना मार्केट, डिमांड और सप्लाई ट्रेंड्स और प्रोडक्टिविटी बढ़ाने के लिए प्रौद्योगिकी को काम लेने की क्षमता है।
वेदांता के आदर्शों के अनुरूप, प्रत्येक कंपनी हमारे वर्कफ़ोर्स, हमारी कम्युनिटीज और हमारे प्लेनेट की भलाई के लिए एक मजबूत प्रतिबद्धता बनाए रखेगी। भले ही हम अपने व्यवसाय को चलाने के नए तरीकों की ओर बढ़ रहे हैं, परन्तु हम अच्छे बदलाव के लिए दृढ़ बने रहेंगे।”
वेदांता वैल्यूज नई संस्थाओं में अंतर्निहित रहेंगे
एसएंडपी ग्लोबल कॉरपोरेट सस्टेनेबिलिटी असेसमेंट 2022 में वेदांता लिमिटेड 216 वैश्विक धातु और खनन कंपनियों में छठे स्थान पर है। कंपनी का लक्ष्य यह सुनिश्चित करना है कि वेदांता डीएनए और ईएसजी परिवर्तन पर ध्यान अनबंडलिंग एक्सरसाइज के बाद भी बना रहे। इसमे निम्न शामिल हैं:
नई कंपनियां इस ट्रांजीशन को तेज करने के लिए अगले 10 वर्षों में 5 बिलियन डॉलर खर्च करने के लक्ष्य के साथ 2050 तक नेट-जीरो कार्बन उत्सर्जन और 2030 तक नेट वाटर पॉजिटिविटी प्राप्त करने के लिए प्रतिबद्ध रहेंगी। नेट ज़ीरो में ट्रांजीशन की प्रक्रिया में हमने पहले ही अपनी समूह कंपनियों में बिजली वितरण समझौते के माध्यम से 1.8 गीगावॉट नवीकरणीय ऊर्जा सिक्योर कर ली है।
वेदांता के डिजिटल-फर्स्ट एप्रोच और एडवांस टेक्नोलॉजीज पर गहन फोकस के परिणामस्वरूप प्रक्रियाओं में सुधार हुआ है, साइबर सुरक्षा मजबूत हुई है और प्रभावी निर्णय लेने के लिए इनफार्मेशन तक आसान पहुंच हुई है। वेदांता के प्रत्येक व्यवसाय ने डिजिटलीकरण और इन्नोवेशन की दिशा में अपनी परिवर्तनकारी यात्रा शुरू कर दी है और यह जारी रहेगी।