नवरात्रा का दूसरा दिन
udaipur. नवरात्रा के दूसरे दिन देवी दरबार में दिन भर साधकों, भक्तों का रेला रहा। अंधेरा ढलते ही डांडियों की धूम शुरू हो गई जिन्हेंम रात 10.30 बजे तक बंद भी करवा दिया गया। माता के दर्शन को भक्त नंगे पांव मंदिरों तक पहुंचे वहीं कई युवाओं, महिलाओं ने तो पूरे नवरात्रा नंगे पैर ही रहने का निश्चेय किया है।
शहर के गली मोहल्लों और उपनगरीय क्षेत्रों में गरबा गीतों की गूंज उठने लगी। शुरूआत बच्चों के राउंड से होने के बाद फिर युवाओं ने खूब मस्ती से डांडिया खेला। कहीं कहीं एकल राउंड हुए तो फिर बाद में कहीं मिक्सर राउंड भी हुए। औदिच्य , मोची, गुजराती समाज में पारंपरिक गरबा आयोजन हो रहे हैं। इनमें सिर्फ हाथ से ही गरबा खेला जाता है।
शहर के सुथारवाड़ा, नाड़ाखाड़ा, धानमंडी, हनुमान मंदिर, घंटाघर, टैगोर नगर, आवरी माता कॉलोनी, सेक्टर 14 आदि विभिन्न स्थलों पर गरबा महोत्सव शुरू हुए। गरबा गीतों में कहीं फिल्मी रीमिक्स में गरबा धुनें बजी तो ज्यादातर जगह गुजराती गरबा गीत ही सुनाई दिए। ऐसे में ‘धीरे, धीरे चुंदड़ी रंग लागो रे गरबा..’, ‘मारो सोना रो कडूल्यो रे..’, ‘ढोलीड़ा ढोल धीमो वगाड़..’ आदि गुजराती धुनों की गूंज रही।