रूडा के तत्वावधान में राष्ट्रीय दस दिवसीय क्राफ्ट मेला शुरू
उदयपुर। रूडा (रूरल नॉन फार्म डवलपमेंट एजेंसी) की ओर से राष्ट्रीय क्राफ्ट मेला ‘गांधी शिल्प् बाजार- 2015’ का आज संभागीय आयुक्त भवानीसिंह देथा ने फीता काटकर उद्घाटन किया। इस अवसर पर रूडा के कार्यकारी निदेशक जेड. ए. खान, केन्द्र सरकार के हस्तशिल्प विभाग के सहायक निदेशक अशोक मीणा, रूडा के महाप्रबन्धक दिनेश सेठी सहित अनेक अतिथि एवं पदाधिकारी उपस्थित थे। मेला 18 जनवरी तक चलेगा।
खान ने कहा कि देश के विभिन्न स्थानों पर आयोजित किये जाने वाले इस प्रकार के मेले बिचौलियों को समाप्त कर जनता व उत्पादक दोनों के बीच का संंबंध स्थापित करने का सशक्त माध्यम है। ये मेले देश में आपसी समन्वय एवं सौहाद्र्ध के प्रतीक के रूप में भी जाने जाते है। उन्होनें कहा कि देश के विभिन्न कोनों से आये हस्तशिल्पी अपनी सर्वश्रेष्ठ कला का यहंा दस दिन तक प्रदर्शन कर जनता को नवीन उत्पाद उपलब्ध करायेंगे। मेले में विभिन्न राज्यों उत्तरप्रदेश, महाराष्ट्र,आसाम, उड़ीसा, जम्मू कश्मीर, कर्नाटक, केरल, राजस्थान, हरियाणा आदि सैकड़ो हस्तशिल्पी व दस्तकार 100 से अधिक स्टॉलों के जरिये अपनी कलाकृतियों का प्रदर्शन कर रहे है। इस अवसर पर देथा सहित सभी अतिथियों ने मेले का अवलोकन किया एंव दस्तकारों एंव उनके कार्यो के बारें में जानकारी ली।
इस अवसर पर केन्द्र सरकार के हस्तशिल्प विभाग के सहायक निदेशक अशोक मीणा ने बताया कि मेले में बेजोड़ कलाकृतियां, रंग-बिरंगे परिधान, बांस व बेंत के फर्नीचर, लखनऊ के चिकन परिधान, तिरुपति का काष्ट कार्य, कांजीवरम की सिल्क साडिय़ां, पोकरण का टेराकोटा, कश्मीर के पश्मीना शॉल, गुलाबी नगरी की ब्लू पॉटरी, सहारनपुर का फर्नीचर, खुर्जा की पॉटरी, बनारस की साडिय़ां, राजघराने की परंपरागत हस्तीछपाई, कुंभकारी कला, चमड़े व पत्थर की कलात्मक वस्तुओं का प्रदर्शन किया जायेगा। मेले का आयोजन केन्द्र सरकार के विकास आयुक्त (हस्तशिल्प) के सौजन्य से विभिन्न राज्यों में किया जाता है। इसके तहत पंजीकृत हस्तशिल्पियों को वर्ष भर अलग अलग स्थानों पर बिक्री बाजार का आयोजन कर विपणन सहायता उपलब्ध कराई जाती है।