उदयपुर। पेसिफिक मेडिकल कॉलेज एण्ड हॉस्पीटल के न्यूरोलॉजी विभाग के विभागाध्यक्ष डॉ. अतुलाभ वाजपेयी यूरोपियन एकेडमी ऑफ न्यूरोलॉजी की ओर से डेनमार्क के कोपेनहेगन मे 28 मई से 31 मई तक आयोजित द्वितीय कॉग्रेस में भाग लिया।
इस कांग्रेस में डॉ. वाजपेयी ने इन्टरवेंशनल न्यूरोलॉजी में हुई नवीनतम तकनीक पर अपना पेपर प्रजेन्टेशन दिया। इस प्रजेन्टेशन के दौरान उन्होने डबल माइक्रो कैथेटर असिस्टेंट कॉयलिंग के विषय पर विश्वे भर से आए हुए न्यूरोलॉजिस्ट को इस तकनीक से रूबरू कराया। तीन दिवसीय कांग्रेस के दौरान पीएमसीएच के डॉ. वाजपेयी ही प्रदेश से एकमात्र ऐसे न्यूरोलॉजिस्ट थे, जिन्होंने अपना पेपर प्रिजेन्ट किया।
डॉ. वाजपेयी ने कहा कि उदयपुर में विकसित इस तकनीक से इलाज में मरीज के खर्चे को एक चौथाई से भी कम किया जा सकता जिसका कि आम जनता को फायदा होगा। इस तकनीक से लकवा रोगियों के मस्तिष्क में रक्त वाहिनी में बनने वाले बड़े मुंह वाले गुब्बाडरे (वाइड नेक ऐन्युरिज्म) को डबल माइक्रो कैथेटर की सहायता से कॉयलिंग किया जाता है जिससे लकवा रोगियों को भविष्य में होने वाले ब्रेन हेमरेज के खतरे से बचाया जा सकता है।
डॉ. वाजपेयी ने बताया कि स्मार्ट सिटी की इस स्मार्ट तकनीक को यूरोपियन एकेडमी ऑफ न्यूरोलॉजी की द्वितीय कॉग्रेस में दुनिया भर से आए सभी न्यूरोलॉजिस्टों ने सराहा। पीएमसीएच के चेयरमैन राहुल अग्रवाल ने बताया कि पेसिफिक सेन्टर ऑफ न्यूरो साइंसेस एक ऐसा सेन्टर है जहां एक ही छत के नीचे मस्तिष्क रोगियों को एक सम्पूर्ण न्यूरो टीम जिसमें डॉ. अतुलाभ वाजपेयी, डॉ. नरेन्द्रमल, डॉ. रमाकान्त, डॉ. प्रशान्त सिंह,डॉ.पंकज गॉधी एवं न्यूरो स्टाफ द्वारा विश्ववस्तरीय इलाज की सुविधा उपलब्ध कराई जा रही है। आगामी दिनों में पेसिफिक मेडिकल कॉलेज एण्ड हॉस्पीटल में एक लाख स्क्यायर फीट एरिया के नवनिर्मित भवन में न्यूरो सेन्टर का संचालन होगा जिससे राजस्थान के साथ मध्यप्रदेश एवं गुजरात के लोगों को भी फायदा मिलेगा। अग्रवाल ने स्पष्ट किया कि पीएमसीएच प्रदेश का पहला ऐसा प्राइवेट हॉस्पीटल होगा जहां मस्तिष्क रोगियों के इलाज का खर्चा बहुत ही किफायती एवं उच्चस्तरीय होगा। पेसिफिक मेडिकल विश्व विद्यालय के वाइस चांसलर डॉ. डीपी अग्रवाल ने नवीनतम चिकित्सा पद्धतियों एवं अनुसंधान के प्रति विष्वविधालय की ओर से प्रतिबद्धता जाहिर की।