उदयपुर। इस वर्ष भी नाट्यांश सोसायटी ऑफ ड्रामेटिक एंड परफॉर्मिंग आर्ट्स द्वारा आयोजित राष्ट्रीय एकमात्र नाट्य महोत्सव ‘अल्फ़ाज़ – 2017’ का शुभारंभ 29 नवम्बर से होगा। लगातार तीन दिन तक तीन अलग-अलग नाटकों का मंचन होगा। इस नाट्य महोत्सव में हिस्सा लेने के लिये देश भर से कलाकार शिल्पग्राम के दर्पण सभागार में एकत्र होंगे।
महोत्सव की खास बात यह कि यह राज्य का पहला और एकमात्र नाट्य महोत्सव है जो पुर्णतया महिलाओं और उनके जीवन को समर्पित है। इस नाट्य महोत्सव को लेकर शहर के रंगमंच प्रमियों में भी खासा उत्साह देखा जा रहा है। पहले दिन 29 नवम्बर 2017, बुधवार को विकास कपूर द्वारा निर्देशित नाटक ‘जी! जैसी आप की मर्जी’ का मंचन किया जायेगा। अकांक्षा संस्थान, जोधपुर के कलाकार नाटक प्रस्तुत करेंगे। नादिरा बब्बर जी द्वारा लिखित नाटक चार अलग कहानियों के माध्यम से औरत के जीवन पर आधारित चार अनदेखे पहलुओं को सामने लाने का प्रयास करेगा।
दूसरे दिन 30 नवम्बर को ओमेन्द्र कुमार द्वारा निर्देशित नाटक ‘पुरूष’ का मंचन किया जायेगा। यह नाटक पुरूष प्रधान देश में महिलाओं के स्थान और संघर्ष दिखाता है। जयवंत दलवी द्वारा लिखित इस नाटक की प्रस्तुति के लिये अनुकृति रंगमंडल कानपुर से कलाकार आएंगे। महोत्सव के तीसरे और अंतिम दिन नाटक लश्कर चौक का मंचन किया जाएगा। कुसुम कुमार जी द्वारा लिखित एवं अमित श्रीमाली द्वारा निर्देशित यह नाटक भारत की आजादी के समय पर आधारित है। कस्बाई परिवेश का यह नाटक हिंदू मुस्लिम रिश्तों और उस समय महिलाओं की सामाजिक स्थिति को दर्शाता है।
प्रवेश निशुल्क : कार्यक्रम संयोजक मोहम्मद रिज़वान मंसूरी ने बताया कि इस नाट्य महोत्सव में दर्शकों का प्रवेश पूरी तरह से निशुल्क रखा गया है। अल्फ़ाज़ नाट्य महोत्सव का यह पांचवां वर्ष है, इससे पूर्व भी चार वर्षों तक इसका सफलता पूर्वक आयोजन किया जा चुका है।
1300 से ज्यादा नवोदित कलाकारों को मिल चुका है मंच : कार्यक्रम संयोजक मोहम्मद रिज़वान मन्सुरी ने बताया कि नाट्य महोत्सव ‘अल्फ़ाज़ – 2017’ हर साल कई नवोदित कलाकारों को मंच प्रदान करता है। इन पाँच सालों में शहर भर के 1300 से ज्यादा नवोदित कलाकारों को कला के विभिन्न क्षेत्रों के जरिए मंच प्रदान किया जा चुका है। इतना ही नहीं इन पाँच सालों में सोसायटी ने अल्फाज के माध्यम से 150 से ज्यादा बच्चों को रंगमंच सिखाया है।