इस बार सरकारी खरीद मूल्य से कम रहेगा गेहूं का भाव
उदयपुर। वर्ष 2012 में गेहूं का रिकार्ङ उत्पादन (88.31 मिलियन टन) होने की सम्भावना है। राजस्थान में गेहूं के अन्तर्गत पिछले वर्ष की तुलना में कम क्षेत्र में बुवाई हुर्इ। उत्पादन कम होने की सम्भावना है। महाराणा प्रताप कृषि एवं प्रौद्योगिकी विश्वविद्यालय के अन्तर्गत राष्ट्रीय कृषि नवोन्मेषी परियोजना की कृषि विपणन व परिज्ञान केन्द्र इकाई ने कृषि बाजार में होने वाले उतार-चढाव व आगे आने वाले समय में गेहूं के बाजार भावों में होने वाले परिवर्तन का अध्ययन किया है।
राजस्थान कृषि महाविद्यालय के कृषि अर्थशास्त्र एवं प्रबन्धन विभाग के सह-आचार्य डॉ. सुखदेवसिंह बुरडक़ ने कोटा नियंत्रित कृषि बाजार से 12 वर्षों के बाजार भावों के मासिक आंकड़ों का अर्थमितीय विश्लेतषण किया तथा साथ में कोटा नियंत्रित बाजार में गेहॅू के मुख्य थोक विक्रेताओं का सर्वेक्षण भी किया। अध्ययन के आधार पर उन्हों ने बताया कि वर्तमान में कोटा मण्ड़ी में गेहूं का भाव 1100—1150 रु/क्वि. के मध्य है तथा इस वर्ष (2012) गेहूं का न्यूनतम समर्थक मूल्य पिछले वर्ष की तुलना में 65 रुपये बढकर 1285 रुपये प्रति क्विंटल हो गया है। डॉ. बुरडक़ ने बताया कि वर्ष 2012 के माह अप्रेल—मई (कटाई के उपरान्त) में गेहूं (मिल डिलीवरी) की कीमत 1150 से 1250 रु/क्वि. के मध्य रहने की संभावना है।