अन्तर्राष्ट्रीय महिला दिवस पर हुए विविध आयोजन
Udaipur. उदयपुर में अंतरराष्ट्रीय महिला दिवस पर शुक्रवार को विविध आयोजन हुए। स्काउट-गाइड की बालिकाओं ने रैली निकाली तो सुविवि के यूजीसी महिला अध्ययन केन्द्र के तत्वावधान में संगोष्ठी का आयोजन हुआ।
राजस्थान राज्य भारत स्काउट व गाइड एवं राष्ट्रीय ग्रामीण स्वास्थ्य मिशन के तत्वावधान में बालिका व महिलाओं के सम्मान व सामर्थ्य हेतु समाज में एक संदेश देने की दृष्टि से 1263 छात्राओं ने रैली निकालकर सशक्त नारी समर्थ समाज का संदेश दिया। मण्डल सचिव सुरेशचन्द्र खटीक ने बताया कि सभापति रजनी डांगी ने कहा कि नारी एक परिवार को संभालती है तो परिवार में एक समूह बनता है। परिवार के समूह से समाज बनता है, समाज के समूह से ग्राम, ग्राम के समूह से शहर और शहरों के समूह से प्रदेश, प्रदेश के समूहो से देश एवं देश के समूह से विश्व का निर्माण होता है। रैली संयोजक देवानन्द पुरोहित एवं रैली संचालक सैम्युूअल फ्रांसिस ने बताया कि उदयपुर शहर में भी ऐसी रैली राजकीय व निजी विद्यालयों, महाविद्यालयों, एसटीसी की बुलबुल, गाइड्स, रेंजर्स अन्य छात्राओं, युवतियों ने रैली में भाग लिया। टाउनहॉल से प्रारंभ होकर सूरजपोल चौराहा, बापू बाजार, देहलीगेट, टाउनहॉल होते हुए स्काउट गाइड मण्डल मुख्यालय सूरजपोल उदयपुर पर सम्पन्न हुई। इस रैली में बालिकाओं को बेटी बचाओ, स्वावलम्बन, आत्मनिर्भर बनाना, स्वास्थ्य के प्रति जागरूकता, स्वयं की आत्मरक्षा आदि विषयों पर नारे इत्यादि लेकर शहर के मुख्य मार्ग में जनजागरण रैली का आयोजन किया गया। स्वागत उपप्रधान डॉ. सुजानसिंह ने किया। कार्यक्रम का संचालन सीओ स्काउट एम. आर. वर्मा ने किया।
यूजीसी महिला अध्ययन केन्द्र के तत्वावधान में विश्वविद्यालय सभागार में हृदय रोग निवारण विषयक विस्तार व्याख्यान में मुख्य वक्ता अखिल भारतीय आयुर्विज्ञान संस्थान के कार्डियोलोजिस्ट डॉ. विमल छाजेड़ थे। अध्यक्षता सुविवि कुलपति प्रो. आई. वी. त्रिवेदी ने की। केन्द्र निदेशक प्रो. रेणू जटाना ने कहा कि महिला ही समाज की वास्तविक शिल्पकार होती है। वे ही साहित्य की प्रेरणा और स्वास्थ्य की रचयिता होती है। अतः स्वास्थ्य के प्रति जागरूकता एक महत्वपूर्ण आवश्यकता है। प्रो. आई. वी. त्रिवेदी ने कहा कि प्रतिस्प र्धा के इस युग में हमारे जीवन में व्यस्तताएं बहुत बढ गई है। अतः हम अपने स्वास्थ्य पर समुचित ध्यान नहीं दे पाते। हमारे शरीर का विभिन्न रोगों से ग्रसित होना इसी उदासीनता का परिचायक है। डॉ. विमल छाजेड़ ने बताया कि सामान्यतः महिलाओं में हृदय सम्बन्धित रोग कम होते है, लेकिन हृदय सम्बन्धित रोग के कारण एवं निवारण की जानकारी होना उनके लिए भी बहुत महत्वपूर्ण है, क्योकि इस जानकारी के द्वारा वे अपने परिवार ही नहीं, अपितु अन्य लोगों को भी इस गंभीर बीमारी से बचा सकती है। साथ ही डॉ. विमल छाजेड द्वारा हार्ड अटैक क्या है और हम इसे किस प्रकार रोक सकते हैं, बिना आपरेशन एवं बिना चीरफाड़ के हृदय रोग का इलाज कैसे सम्भव है, हृदय रोग में अनावश्यक सर्जरी या एन्जियोप्लास्टी से कैसे बचे और जीरो ऑयल कुकिंग, जीवन शैली प्रबंधन द्वारा हृदय रोग को किस प्रकार रोका जा सकता है, इत्यादि बिन्दुओं पर विस्तृत जानकारी प्रदान की। विश्वविद्यालय के सभी संघटक और सम्बद्ध महाविद्यालयों के संकाय सदस्यों एवं विद्याथियों सहित उदयपुर शहर के गणमान्य एवं जनसाधारण ने सहभागिता की। डॉ. छाजेड ने प्रतिभागियों के प्रश्न एवं शंकाओं का समाधान भी किया। संचालन डॉ. डॉली मोगरा ने किया। अंत में डॉ. शैलेन्द्र मौर्य ने धन्यवाद दिया।