मोटर परिवहन अनुबंध से सार्क देशों में प्रगाढ़ता आएगी – डॉ. जोशी
Udaipur. केन्द्रीय भूतल परिवहन एवं राजमार्ग मंत्री डॉ. सी. पी. जोशी ने सार्क राष्ट्रों के मध्य मोटर परिवहन करार को राष्ट्रों के मध्य संबंधों को प्रगाढ़ करने की नवीन शुरुआत बताया। वे सोमवार को होटल फतहप्रकाश में सार्क देशों के बीच दो दिवसीय मोटर व्हीकल एग्रीमेन्ट संबंधी सम्मेलन की अध्यक्षता कर रहे थे।
इस सम्मेलन में सार्क के सदस्य देश पाकिस्तान, श्रीलंका, नेपाल तथा मालदीव के प्रतिनिधि हिस्सा ले रहे हैं। डॉ. जोशी ने विश्वास व्यक्त किया कि इस अनुबंध से जहां राष्ट्रों के मध्य सामाजिक, आर्थिक तथा सांस्कृतिक प्रगाढ़ता को नए आयाम मिलेंगे वहीं सामूहिक आत्मनिर्भरता में भी वृद्घि होगी।
भारत की चर्चा करते हुए डॉ. जोशी ने बताया कि देश के सकल रोड़ नेटवर्क में राष्ट्रीय राजमार्ग का हिस्सा मात्र दो फीसदी है जबकि इस पर चालीस प्रतिशत वाहनों का यातायात है। उन्होंने आंकड़े देखकर बताया कि देश में 142 मिलियन वाहन पंजीकृत हैं तथा पिछले एक दशक में 9.9 प्रतिशत वाहनों की वृद्घि दर्ज की गई है। डॉ. जोशी ने सार्क मोटर व्हीकल करार की चर्चा करते हुए कहा कि इसे अब सार्क के सभी राष्ट्रों के मध्य विस्तारित करना होगा तथा इसे क्षेत्रीय स्तर पर रेलवे से भी जोड़ने के प्रयास करने होंगे तभी हम समन्वित परिवहन को नई दिशा दे सकेंगे।
डॉ. जोशी ने सड़क सुरक्षा की महत्ता पर प्रकाश डालते हुए कहा कि चाहे वे चालक हो या यात्री या पैदल चलने वाला, इनकी सुरक्षा के प्रभावी प्रयास सुनिश्चित करने होंगे। इसके लिए हमें सख्त परिवहन लागू करने की महती जरूरत है। उन्होंने सुझाव दिया कि अभियांत्रिकी तकनीकी को सुदृढ़ करते हुए मोटर रेगुलेटरी पर विशेष जोर देना होगा। डॉ. जोशी ने थिम्पू में आयोजित 16वें सार्क सम्मेलन की अनुशंसाओं को सभी सार्क देशों में लागू करने पर बल देते हुए कहा कि इससे सभी सार्क देशों के बीच परिवहन समन्वय स्थापित होगा, जो वर्तमान में केवल तीन देशों के मध्य ही सीमित है