उदयपुर। पुलिस अधीक्षक अजयपाल लाम्बा ने कहा कि जीवन में होने वाले हादसों पर आत्म चिंतन की जरूरत है। सड़क हादसों का प्रमुख कारण मद्यपान कर ड्राइव करना, तेज गति, अत्यधिक भार तथा वाहन चलाते समय मोबाइल पर बातें आदि करना है।
लाम्बा पुलिस लाइन स्थित कान्फ्रेंमस हॉल में सेन्टर फॉर रोड़ सेफ्टी, सरदार पटेल यूनिवर्सिटी ऑफ पुलिस सिक्युरिटी एण्ड क्रिमिनल जस्टिस, जोधपुर के तत्वावधान में केपेसिटी बिल्डिंग ऑफ कम्युनिटी परियोजना उदयपुर द्वारा आयोजित कार्यशाला में मुख्य अतिथि के रूप में बोल रहे थे। उन्होंने कहा कि उदयपुर में समझाईश के उपरान्त 70 प्रतिशत दुपहिया वाहन चालक हेलमेट का प्रयोग करने लगे हैं तो यातायात भी व्यवस्थित हो रहा है तथा पुलिस बेहतर काम कर पा रही है।
पुलिस उपअधीक्षक यातायात राजाराम ने कहा कि उदयपुर शहर में ट्रैफिक का दबाव अन्य शहरों से बहुत अधिक है। एशिया महाद्वीप में उदयपुर ऐसा शहर है जहां दुपहिया वाहन व चार पहिया वाहनों की संख्या काफी अधिक है। शहर में न तो फ्लाईओवर है, न फुटपाथ है न स्लीपलाइन रोड और न ही अण्डर ब्रिज है। शहर में सबसे बडी़ ट्रैफिक समस्या विक्रम टेम्पो की है जो जगह-जगह बेतरतीब खड़े होकर यातायात बाधित करते हैं। साथ ही प्रदूषण फैलाते हैं। न्यूरोसर्जन डॉ. तरूण गुप्ता, प्रो. निधि राय, विधिक सचिव नीरज भारद्वाज ने भी विचार व्यहक्तन किए।