उदयपुर। विश्व में मात्र दो देशों को छोडक़र सभी देशों से पोलियों उन्मूलन के बाद रोटरी अन्तर्राष्ट्रीय ने दक्षिण एशिया से वर्ष 2017-18 तक करीब 85 प्रतिशत साक्षरता अर्जित करने का लक्ष्य रखा है। इस लक्ष्य के पूर्ण होने के बाद रोटरी अन्तर्राष्ट्रीय ने विश्व में रोटरी के जरिये कम लागत के केन्द्रों को निमार्ण करने का कार्य हाथ में लगी ताकि निर्धन वर्ग उसमें रह सकें।
रोटरी अन्तर्राष्ट्रीय द्वारा अमेरीका के सेन्ट डियागों में विश्व के 210 देशों के प्रान्तपालों के लिए गत दिनों आयोजित असेम्बली में भाग ले कर लौटे वर्ष 2016-17 के प्रान्तपाल रमेश चौधरी ने रोटरी क्लब उदयपुर द्वारा रोटरी बजाज भवन में आयोजित कार्यक्रम में उक्त जानकारी देते हुए बताया कि रोटरी अन्तर्राष्ट्रीय मानव सेवा के लिए एक लक्ष्य के पूर्ण होने पर दूसरा लक्ष्य निर्धारित कर देती है ताकि रोटेरियन उक्त लक्ष्य को पूर्ण करने के लिए अपने आपको तैयार कर सकें।
चौधरी ने बताया कि रोटरी अन्तर्राष्ट्रीय पूर्णतया पेपर लैस हो चुकी है ओर उसने वर्ष 2016-17 में विश्व के करीब 50 से 75 क्लबों को पूर्णतया पेपर लैस हो जाने की बत कहीं है। रोटरी ने सेनिटेशन की सुविधा नहीं होने के कारण स्कूलों का त्याग कर रही बालिकाओं को रोककर वहंा सेनिटेशन की सुविधा विकसित करनी होगी। उन्होंने बताया कि आज विश्व में विश्वसनीयता रोटरी की पहिचान बन चुकी है।
उन्होंने बताया कि रोटरी अन्तर्राष्ट्रीय के अध्यक्ष ने विश्व के समक्ष वर्ष 2016-17 की थीम रोटरी सर्विंग ह्यूमेनिटी यानि रोटरी मानव सेवा के लिए प्रस्तुत की है। चौधरी ने बताया कि रोटरी ने अब मंच,माला, सम्मान का त्याग करने का निर्णय लिया है ताकि इसमें व्यर्थ होने वाल समय एवं धन मानव सेवा में लगाया जाए।
चौधरी ने बताया कि वर्ष 2016 में रोटरी फाउण्डेशन अपना सेवा वर्ष मना रहा है। इस वर्ष को रोटरी अन्तर्राष्ट्रीय ने शताब्दी वर्ष के रूप में मनाने का निर्णय लिया है ताकि पीतउि़ता मानव की सेवा में ओर अधिक आर्थिक मजबूती के साथ जुड़ सकें। उन्होंने बताया कि सेन्ट डियागो में विश्व के 210 देशों के प्रान्तपालों ने एक साथ अपने अनुभव साझा किये। इस अवसर पर क्लब अध्यक्ष गजेन्द्र जोधावत, सचिव सुभाष सिंघवी ने भी अपने विचार रखें। प्रारम्भ में पदम दुगड़ ने ईश वंदना प्रस्तुत की जबकि अन्त में सुभाष सिंघवी ने धन्यवाद ज्ञापित किया। कार्यक्रम में चौधरी के अमेरीका से लोटने पर क्लब सदस्यों ने उपरना ओढ़ाकर भावभीना स्वागत किया।