उदयपुर। हिन्दुस्तान जिंक ने खुशी अभियान के तहत आयोजित क्रिएटिव वर्कशॉप में कैनवस पर उभरे बच्चोंस के विचारों और सोच को कैलेण्ड्र के रूप में प्रकाशित किया है।
उदयपुर शहर में आयोजित वर्कशॉप में स्कूलों के 250 बच्चों ने मिलकर वंचित बच्चों के प्रति जागरूकता के अभियान खुशी के माध्यम से आम जनता को संदेष देने के लिये अपने मन की भावनाओं को कैनवास पर 8 विषयों जैसे बाल विवाह, बाल उत्पीडन, बाल भिक्षावृत्ति, बालिका सुरक्षा, चाईल्ड टेªफिकिंग, बाल मजदूरी, बच्चों में कुपोषण एवं बाल शिक्षा पर अपने मन की भावनाओं को रंगों और सोच के अनुरूप केनवास पर उकेरे थे। स्कूली बच्चों द्वारा 48 अदभुत कलाकृतियों के माध्यम से खुशी 2017 कैलेण्डर निकाला गया है जिस पर प्रत्येक बच्चे एवं संबंधित स्कूल का नाम भी प्रिन्ट करवाया गया है। हिन्दुस्तान जिंक आंगनवाड़ी केन्द्रों के सहयोग से वंचित बच्चों के लिए शिक्षा, स्वास्थ्य तथा सुपोषण उपलब्ध कराने के लिए कार्य कर रहा है। हिन्दुस्तान जिंक वंचित बच्चों के विकास के लिए खुशी अभियान प्रारंभ किया था जो 5 साल से निरन्तर कार्य कर रहा है। अभियान का उद्देश्य वंचित बच्चों के सम्पूर्ण विकास के प्रति एक जैसी सोच रखने वाले लोगों को साथ लेकर बदलाव लाने की दिशा में एक मुहिम है।
हिन्दुस्तान जिंक के हेड-कार्पोरेट कम्युनिकेशन एवं अभियान के फाउण्डर पवन कौशिक ने बताया कि वंचित बच्चों के प्रति जागरूकता लाने के लिए हिन्दुस्तान जिंक ने तकरीबन 3500 स्कूली बच्चों से बातचीत कर उन्हें प्रोत्साहित किया कि वे वंचित बच्चों से संबंधित विषयों पर जागरूक रहे तथा समाज को जागरूक बनाये। 2017 का खुशी कैलेण्डर बच्चों को प्रोत्साहित करेगा तथा इसके माध्यम से समाज के विभिन्न वर्गों तक वंचित बच्चों के प्रति जागरूकता का संदेश पहुंचेगा। हिन्दुस्तान जिंक राजस्थान सरकार के सहयोग से 3000 से अधिक खुशी आंगनवाड़ी केन्द्रों पर ग्रामीण बच्चों को सुपोषण, शिक्षा व स्वास्थ्य सुविधाएं उपलब्ध करवाई जा रही है। ज्ञातव्य रहे कि अभियान के तहत वर्तमान में तकरीबन 2 लाख से भी अधिक सदस्य हैं जो इन बच्चों की मदद करने के लिए तैयार है।