नई परियोजनाओं के प्रचालन से लाभ
उत्पादन एवं बिक्री में नया कीर्तिमान
निदेशक मण्डल ने की 45 प्रतिशत लाभांश की सिफारिश
3 हजार करोड़ रु. दिए सरकार के राजकोष में
उदयपुर। वेदान्ता समूह की हिन्दुस्तान जिंक लिमिटेड ने 31 मार्च, 2012 को समाप्त वित्तीय वर्ष तथा इसी वर्ष की चौथी तिमाही के परिणामों की घोषणा की। हिन्दुस्तान जिंक के चेयरमैन अग्निवेश अग्रवाल ने बताया कि कंपनी ने सर्वाधिक धातु उत्पादन तथा लाभ अर्जित किया है तथा शेयर होल्डर्स को सर्वाधिक लाभांश की घोषणा की है। साथ ही हमारा सर्वाधिक ध्यान समन्वेषण कार्यकलापों द्वारा कंपनी की भावी विस्तार योजनाओं को सम्पन्न करने पर है। हम शेयरधारकों की वेल्यू में वृद्धि करने तथा कंपनी की वर्तमान परिसम्मपतियों में विस्तार एवं सुधार तथा लगातार मूल्यवान अवसरों से समेकित प्रगति के लिए प्रतिबद्ध है।
कंपनी का चौथी तिमाही के दौरान रिकार्ड खनिज धातु उत्पादन 223000 टन तथा वित्तीय वर्ष 2012 में 840,000 टन रहा। इस दौरान कंपनी के उत्पादन में रामपुरा आगुचा एवं सिन्देसर खुर्द खान का सर्वाधिक योगदान रहा है।
चौथी तिमाही में रिफाइन्ड जस्ता धातु का उत्पादन 190,000 टन तथा वित्तीय वर्ष 2012 में 759,000 टन हुआ जो गत वर्ष की इसी समान अवधि की तुलना में 6 प्रतिशत की बढ़ोतरी दर्शाता है। कंपनी ने चौथी तिमाही में रिफाइन्ड सीसा धातु का उत्पादन 37,000 टन तथा वित्तीय वर्ष 2012 में 99,000 टन किया जो गत वर्ष की इसी समान अवधि की तुलना में क्रमश: 56 प्रतिशत तथा 110 प्रतिशत अधिक है।
कंपनी का चौथी तिमाही एवं वित्तीय वर्ष 2012 में रिकार्ड चांदी धातु उत्पादन क्रमश: 88 टन तथा 242 टन हुआ जो क्रमश: 35 तथा 77 प्रतिशत की वृद्धि दर्शाता है।
कंपनी ने वित्तीय वर्ष 2012 एवं चौथी तिमाही में क्रमश: 11,405 करोड़ रु. का राजस्व तथा 5,526 करोड़ रु. का शुद्ध लाभ अर्जित किया जो गत वर्ष की इसी समान अवधि की तुलना में क्रमश: 14 प्रतिशत तथा 13 प्रतिशत की वृद्धि दर्शाता है। कंपनी ने वित्तीय वर्ष की चौथी तिमाही में 3,135 करोड़ रु. का राजस्व तथा 1,413 करोड़ रु. का शुद्ध लाभ अर्जित किया है।
कंपनी ने वर्ष के दौरान दरीबा लेड स्मेल्टर एवं नया सिल्वर रिफाईनरी का सफलतापूर्वक संचालन कर लिया है। कंपनी ने वित्तीय वर्ष 2012 की चौथी तिमाही में सिन्देसर खुर्द खदान से 1.8 मिलियन टन उत्पादन किया है। रामपुरा-आगूचा खदान एवं ग्रीनफील्ड कायड़ खदान का भूमिगत विकास का कार्य प्रगति पर है।
कंपनी पवन ऊर्जा उत्पादन के क्षेत्र में लगातार वृद्धि करते हुए वित्तीय वर्ष 2012 की चौथी तिमाही में 15 मेगावाट पवन ऊर्जा परियोजना की सफलतापूर्वक स्थापना कर ली है जिससे कंपनी की पवन ऊर्जा उत्पादन क्षमता बढक़र 274 मेगावाट हो गई तथा इसके साथ ही जिंक पवन ऊर्जा उत्पादन के क्षेत्र में देश की अग्रणी कंपनी बन गई है।
कम्पनी के निदेशक मण्डल ने चालू वित्तीय वर्ष के लिए 45 प्रतिशत लाभांश घोषित किया है जो 2 रुपए के प्रति इक्विटी शेयर पर 90 पैसे देने की सिफारिश की है। इस प्रकार वित्तीय वर्ष 2012 में कुल लाभांश 120 प्रतिशत हो गया है जो 2.40 पैसे प्रति शेयर है तथा कंपनी के इतिहास में अब तक का सर्वाधिक लाभांश है।
कंपनी के लगातार चल रहे समन्वेषण कार्यकलापों के फलस्वरूप अयस्क भण्डारों एवं संसाधनों में वृद्धि हुई है। 31 मार्च, 2012 को कुल संसाधन एवं आरक्षित अयस्क भण्डार 332.3 मिलियन टन है, जिसमें 35 मिलियन टन जस्ता—सीसा धातु एवं 912 मिलियन आऊंस चांदी विद्यमान है, खदान की आयु 25 वर्ष है तथा खदान में लगातार उत्पादन जारी है।