प्रतिपक्ष सहित सत्ता पक्ष के पार्षदों ने किया जमकर विरोध
महापौर के खिलाफ जिला कलक्टर को ज्ञापन
Udaipur. नगर निगम की सोमवार को हुई बोर्ड बैठक में हंगामा हुआ। सत्ता पक्ष भाजपा के पार्षदों सहित प्रतिपक्ष ने भी समितियों के गठन का जमकर विरोध किया। इस हंगामे के बीच महापौर रजनी डांगी ने नई समितियों के गठन की घोषणा कर दी।
पूर्व की तीन समितियों के अध्यक्षों को हटा दिया गया है। ये सभी कटारिया विरोधी गुट से सम्बन्धित हैं। इनमें अर्चना शर्मा, मोहनसिंह पंवार और उपमहापौर महेन्द्रसिंह शेखावत शामिल है। बोर्ड बैठक शुरू होने के बाद महापौर रजनी डांगी ने समितियां गठित करने की घोषणा की। इस पर कांग्रेस सहित भाजपा के पार्षदों ने जोरदार आपत्ति जताई। काफी हो हल्ला और बहस के बावजूद डांगी ने कहा कि उन्होंने समितियों के गठन की घोषणा कर दी है। विरोधी पार्षदों का कहना था कि बहुमत के आधार पर समितियों का गठन सहमति से किया जा सकता है। समिति गठन के विरोध में करीब 32 पार्षद थे जबकि निगम में पार्षदों की संख्या 55 तथा 3 मनोनीत है। इस पर डांगी ने राष्ट्रगान शुरू कर दिया और बैठक समाप्त हो गई।
इसके बाद सभी 32 पार्षदों ने महापौर का घेराव किया। नहीं मानने पर ये सभी पार्षद उपमहापौर महेन्द्रसिंह शेखावत के नेतृत्व में जिला कलक्टर विकास भाले से मिले और उनसे कहा। उन्होंने आयुक्त से बातचीत की तो आयुक्त का कहना था कि बहुमत के आधार पर समतियां गठित की गई हैं जबकि उस समय 32 पार्षद जिला कलक्टर के समक्ष खडे़ थे। इन सभी ने एक हस्ताक्षरशुदा पत्र भी जिला कलक्टर को दिया।
इससे पहले निगम में दोपहर बाद नई समितियों की घोषणा होने से पूर्व सोमवार को सुबह भाजपा पार्टी कार्यालय में पार्षद दल की बैठक हुई। इसमें भी नई समितियों को लेकर चर्चा बनी रही। शहर भाजपा में कटारिया एवं विरोधी गुटों के बीच सुबह से कयासों का दौर लग रहा था। जैसी की आशंका थी कि कटारिया विरोधी गुट के समिति अध्यक्षों में से एक-दो को समितियों से हटाया जा सकता है। ठीक वही हुआ कि विरोधी गुट के तीन अध्यक्षों को हटा दिया गया। कांग्रेसी पार्षदों की भी बोर्ड बैठक में सत्ता पक्ष को घेरने को लेकर बैठक हुई। उल्लेखनीय है कि निगम बोर्ड में चार माह बाद नई समितियां गठित हुई हैं।