उदयपुर। श्री क्षत्रिय युवक संघ के प्रमुख भगवान सिंह रोलसाबसर ने कहा कि किसी भी कार्य को कल पर नहीं टाला जाना चाहिये क्योंकि हर शुभ कार्य की शुरूआत तत्काल होनी चाहिये। वे अलख नयन मंदिर में स्थानीय शाखा द्वारा आयोजित शिक्षक व संस्कार विषयक संगोष्ठी में मुख्य वक्ता के रूप में बोल रहे थे।
उन्होंने कहा कि कोई भी अच्छा कार्य करने के लिए किसी भी प्रस्ताव को पास करने की आवश्यकता नहीं होती है। उस कार्य के लिए स्वंय ही निर्णय लेना पड़ता है। उन्होंने कहा कि हमें संस्कारवान बनना चाहिये। नियमित रूप से किसी भी कार्य को करने से उसके अच्छे परिणाम प्राप्त होते है।
इस अवसर पर डॉ. हरिसिंह रामपुरिया ने कहा कि समाज में संस्कार देने की जिम्मेदारी शिक्षकों की होती है। हम संस्कारवान होंगे तभी हम बच्चों को अच्छे संस्कार दे पायेंगे। गोष्ठी में अनेक वक्ताओं नरपतसिंह बैठवास,गोवर्धनसिंह माण्डूपल, डॉ. लक्ष्मणसिंह झाड़ोल, ब्रजराजसिंह खारड़ा ने उपरोक्त विषय पर अपने विचार रखें। कार्यक्रम की शुरूआत भंवरसिंह बेमला द्वारा प्रस्तुत की गई ईश वंदना से हुई। डॉ. लक्ष्मी झाला ने मंत्रोच्चार किया एवं अन्त में डॉ. कमलसिंह बेमला द्वारा धन्यवाद दिया गया।