गुलाबपुरा की पूजा ने प्राप्त किए 76.60 प्रतिशत अंक
Udaipur. हिंदुस्तान जिंक लिमिटेड के शिक्षा सम्बल अभियान से जुड़कर भीलवाड़ा जिले के गुलाबपुरा की बालिका पूजा लोहार ने न सिर्फ बारहवीं विज्ञान में 76.60 प्रतिशत अंक प्राप्त किए बल्कि गार्गी पुरस्कार की हकदार भी बनी।
हिंदुस्तान जिंक के शिक्षा सम्बल अभियान के तहत नवीं से बारहवीं तक के बच्चों के लिए विशेष कक्षाओं का आयोजन किया जाता है। अब तक इसमें पांच वर्षों में करीब 50 स्कूलों के 1200 से अधिक बच्चे लाभ उठा चुके हैं। ‘शिक्षा सम्बल’ के अन्तर्गत गांव के ही उच्च शिक्षित युवाओं को ज़िंक शिक्षक के रूप में आमंत्रित करता है तथा युवक अपनी विषय योग्यता एवं प्रवीणता के अनुसार नियमित तौर पर इन बच्चों की कक्षा लेते हैं। इस प्रकार शिक्षा के साथ इन युवाओं को भी आजीविका मिल गई है।
पूजा ने बताया कि आठवीं तक उसकी शिक्षा अच्छी। खासी हो गई लेकिन नवीं में आते ही गांव के स्कूल में शिक्षकों का अभाव, आधारभूत सुविधाएं तथा सही विषयों का चयन आदि उसकी चिंता के कारण बन गए। माता-पिता ने शिक्षा के लिए गांव से बाहर शहर भेजने के लिए इन्कार कर दिया। ऐसे में पूजा को पढ़ाई गांव में ही रह कर पूरी करनी थी। आखिरकार पूजा ने हुरडा़ के सरकारी स्कूल में दाखिला लिया जहां उसे वेदांता ग्रुप के हिंदुस्ता न जिंक के शिक्षा सम्बुल अभियान के बारे में पता चला। पूजा का कहना है कि हिन्दुस्तान ज़िंक की वजह से उसका विज्ञान पढ़ने का सपना साकार हो गया और उस जैसे अनेक विद्यार्थियों को हिन्दुस्तान ज़िंक के शिक्षा सम्बल कार्यक्रम द्वारा उपयुक्त शिक्षा प्राप्त हो रही है। वर्तमान में पूजा प्रज्ञा महाविद्यालय में अपनी बीएससी की पढ़ाई कर रही है।
हिन्दुस्तान जिंक के एसोसिएट वाईस प्रेसीडेन्ट पवन कौशिक ने बताया कि ग्रामीण बच्चों विशेषकर बालिकाओं के लिए शिक्षा सम्बल कार्यक्रम बेहद उपयोगी साबित हुआ है। हमारा प्रयास है कि हम उन विषयों पर जोर दे सकें जिनका अभाव विद्यार्थी किसी कारणवश ग्रामीण स्कूलों में अनुभव कर रहे हैं। हमें खुशी हैं कि हम राजस्थान सरकार के साथ मिलकर 50 गांवों में शिक्षा को मजबूत करने की दिशा में कार्य कर रहे हैं।